
रायगढ़। छत्तीसगढ़ के रायगढ़ जिले में एक बार फिर औद्योगिक हादसे ने बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है। भूपदेवपुर क्षेत्र स्थित जेएसडब्ल्यू इस्पात स्पेशल प्रोडक्ट्स लिमिटेड (JSW) में कार्यरत डिप्टी मैनेजर रविन्द्र कुमार डनसेना (43 वर्ष) की गुरुवार सुबह संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई। इस घटना से न केवल कंपनी परिसर में हड़कंप मच गया, बल्कि औद्योगिक सुरक्षा मानकों को लेकर प्रशासन और प्रबंधन की जिम्मेदारी भी कठघरे में आ गई है।
घटना का विवरण
जानकारी के अनुसार, तारापुर निवासी और पूर्व सरपंच राजू डनसेना के भाई रविन्द्र कुमार डनसेना नियमित रूप से ए-शिफ्ट के लिए प्लांट पहुंचे थे। सुबह करीब 8 बजे सेंटर साइड क्षेत्र में काम करते समय अचानक वह गिर पड़े। मौके पर मौजूद सहकर्मियों ने तुरंत प्रबंधन को सूचना दी और उन्हें गंभीर हालत में जिंदल फोर्टिस अस्पताल ले जाया गया। लेकिन डॉक्टरों ने जांच के दौरान ही उन्हें मृत घोषित कर दिया। प्रत्यक्षदर्शियों का कहना है कि उनकी मौत घटनास्थल पर ही हो गई थी।
संदिग्ध परिस्थितियां
पुलिस की प्रारंभिक जांच में मृतक के कपड़ों पर कीचड़ के निशान पाए गए, जिसने इस घटना को और रहस्यमयी बना दिया है। अभी तक यह स्पष्ट नहीं है कि उनकी मौत मशीनरी हादसे, गैस रिसाव, करंट लगने या किसी अन्य कारण से हुई है। भूपदेवपुर थाना प्रभारी संजय नाग ने बताया कि शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया गया है। रिपोर्ट आने के बाद ही मौत के कारणों का खुलासा हो सकेगा।
परिजनों और कर्मचारियों का आक्रोश
इस घटना के बाद से मृतक के परिवार में मातम का माहौल है। परिजन आरोप लगा रहे हैं कि कंपनी प्रबंधन की लापरवाही के कारण रविन्द्र की जान गई है। वहीं, सहकर्मी कर्मचारियों में भी आक्रोश है। उनका कहना है कि प्लांट में सुरक्षा मानकों का पालन सही ढंग से नहीं किया जाता और आए दिन हादसे हो रहे हैं।
औद्योगिक सुरक्षा पर सवाल
रायगढ़ औद्योगिक क्षेत्र में पिछले कुछ वर्षों में कई बार मजदूरों और अधिकारियों की मौत या गंभीर रूप से घायल होने की घटनाएं सामने आ चुकी हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि यदि सुरक्षा मानकों का कड़ाई से पालन किया जाए तो इन हादसों को रोका जा सकता है। लेकिन उत्पादन बढ़ाने की होड़ और प्रबंधन की लापरवाही के कारण कर्मचारियों की जान जोखिम में पड़ रही है।

प्रशासन की कार्रवाई
पुलिस ने घटना की जांच शुरू कर दी है और कंपनी प्रबंधन से विस्तृत जानकारी मांगी गई है। प्रशासन ने भी आश्वासन दिया है कि मामले की निष्पक्ष जांच की जाएगी और यदि सुरक्षा मानकों की अनदेखी पाई जाती है, तो जिम्मेदार अधिकारियों और प्रबंधन के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।